छत्तीसगढ़ में लू का कहर , एक सप्ताह के अंदर सात लोगों की मौत

छत्तीसगढ़ में लू का कहर , एक सप्ताह के अंदर सात लोगों की मौत

छत्तीसगढ़ में इस वर्ष नौतपा अपना रौद्र रूप दिखा रहा है। पिछले एक सप्ताह से झुलसाने वाली गर्मी के कारण अब तक अलग-अलग जिलों में सात लोगों की जान जा चुकी है। शुक्रवार को बलौदाबाजार के भैंसा में एक मनरेगा मजदूर ने दम तोड़ दिया। वह काम करके लौटा था, अस्पताल में उपचार के दौरान उसकी मौत हो गई। वहीं, दूसरी ओर अस्पतालों में मरीजों की भीड़ बढ़ गई है। स्कूलों के समर कैंप स्थगित कर दिए गए हैं। इस बीच, मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने लोगों से अपना ध्यान रखने और बहुत जरूरी होने पर ही घर से निकलने की अपील की है। अस्पतालों में बुखार, उल्टी दस्त, डिहाइड्रेशन के मरीज आ रहे हैं।

राजनांदगांव मेडिकल कालेज अस्पताल में 450 से ज्यादा मरीज रोजाना ओपीडी में पहुंच रहे हैं, लेकिन तीन दिनों में डिहाइड्रेशन के मरीजों की संख्या बढ़ गई है। यहां अभी 150 मरीज भर्ती हैं। जिला अस्पताल की ओपीडी में 300 से अधिक मरीज आ रहे हैं। यहां डिहाइड्रेशन के 30 मरीज भर्ती है। जांजगीर-चांपा जिला अस्पताल में साढ़े तीन सौ से अधिक लोग आ रहे हैं। यहां लू से एक व्यक्ति की मौत हो चुकी है। सरगुजा में लू से चार दिन में 71 लोग बीमार हुए हैं। दुर्ग के सिविल अस्पताल तीन दिन में तीन सौ से ज्यादा मरीज आए हैं। कोरबा मेडिकल कालेज में एक हफ्ते में लू के नौ मरीज आए हैं।

गर्मी में घटनाओं को रोकने के लिए राज्य सरकार अलर्ट मोड पर है। मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने सभी संस्थाओं को फायर फाइटर की उपलब्धता सुनिश्चित करने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने एक्स पर पोस्ट साझा करते हुए अधिकारियों को फायर फाइटर की जांच के निर्देश दिए हैं। सभी शासकीय कार्यालयों, छोटे-बड़े उद्योगों, होटलों, इमारतों, माल, गेमिंग जोन, पेट्रोल पंपों आदि का मुआयना कर अग्निशामक यंत्र की सुविधाएं सुनिश्चित करने के लिए निर्देश दिए हैं।

डिहाइड्रेशन और हार्ट अटैक से चमगादड़ों की मौत सूरजपुर

पुराने चिकित्सालय परिसर में गुरुवार शाम को पेड़ में लटके दो दर्जन से अधिक चमगादड़ों की मौत हो गई है। उप संचालक पशु चिकित्सा डा. आरएस बघेल ने बताया कि हार्ट अटैक से मौत हुई। डा. गोपेश सिंह यादव ने बताया कि पोस्टमार्टम में डिहाइड्रेशन के कारण हार्ट अटैक से चमगादड़ों की मौत की पुष्टि हुई है। अस्पतालों में कम से कम दो बिस्तर लू के मरीजों के लिए आरक्षित करने, ठंडे पेयजल की व्यवस्था, पर्याप्त मात्रा में इंट्रा वेनस फ्लूड, ओआरएस पैकेट, बुखार की दवा की उपलब्धता सुनिश्चित करने व अन्य निर्देश दिए गए हैं।