आरक्षण के समर्थन में पिछड़ा वर्ग करेगा दूधाधारी मठ से राजभवन तक पैदल मार्च
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अनुसूचित जाति, जनजाति, अन्य पिछड़ा वर्ग, आर्थिक रूप से पिछड़े स्वर्ण समाज के लिए आरक्षण देने राज्य सरकार ने विधानसभा में प्रस्ताव पारित कर महामहिम राज्यपाल को प्रस्ताव भेजने के लिए आग्रह किया है परंतु महामहिम ने अभी तक के उक्त प्रस्ताव पर हस्ताक्षर कर केंद्र सरकार को नहीं भेजा है जिसको ध्यान आकर्षित करने के लिए छत्तीसगढ़ के सभी जाति समाज 15 दिसंबर को दोपहर 12:00 बजे सामूहिक नेतृत्व में दूधाधारी मठ सत्संग भवन में एकत्र होकर राजभवन तक पैदल मार्च कर महामहिम राज्यपाल को ज्ञापन सौंपने का निर्णय लिया है।
छत्तीसगढ़ पिछड़ा वर्ग संगठन के प्रदेश अध्यक्ष सूरज निर्मलकर ने बताया- समाज बहुत बड़ा है इसलिए नेतृत्वकर्ता भी अनेक है और सबकी अपनी अपनी भूमिका है इसलिए सब का मान सम्मान को ध्यान में रखकर सभी समाज को अपने बैनर लेकर के आने का आग्रह किया गया है और सभी संगठन का सम्मान है। इस महत्वपूर्ण बैठक महापंचायत में सभी सक्रिय सामाजिक प्रतिनिधियों के विचार भी सुने जाएंगे और दूधाधारी मठ से निकलकर मठपारा टिकरापारा पुलिस लाइन कालीबाड़ी इंदरचंद धारीवाल मार्ग होते हुए राजभवन तक पैदल मार्च किया जाएगा।
आयोजन पूर्ण रुप से दलगत राजनीति से ऊपर उठकर के रहेगा और किसी पार्टी के खिलाफ कोई बात नहीं की जाएगी बल्कि अपनी अधिकार की बात की जाएगी और ना ही किसी समाज के खिलाफ बात की जाएगी।
15 दिसंबर के पैदल मार्च को लेकर के आज तैयारी बैठक हुई जिसमें पिछड़ा वर्ग के समाज के वरिष्ठ नेता विष्णु बघेल, विमल साहू, शगुन लाल वर्मा ,शारदा प्रसाद सोनकर, जितेंद्र सोनकर, वरुण निर्मलकर, गिरधारी बरेठ, मेघनाथ यादव, क्रांति साहू, नंद कुमार निषाद, लोचन चंद्राकर, जय नारायण सिन्हा, फागूराम सिन्हा, गोपाला सारथी , भीखम देवांगन, संतोष महानंद, पिंकी बाघ, रामनारायण ध्रुव, संजय नेताम आदि शामिल हुए और इस पैदल मार्च को सफल बनाने का संकल्प गया।।